*जीवदया प्रेमियों की दहाड़ का असर, पशुओं के निर्यात पर लगी रोक*
पवित्र समय न्यूज(मुंबई) 30 जून 2018
मुंबई-हाल ही में हार्दिक हुंडिया की दहाड़ पर जीवदया प्रेमियों असर जब व्हाट्सएप पर नजर आया जिससे जीवदया प्रेमियों में खुशी की लहर दौड़ गयी। ज्ञात हो कि आज एक लाख बकरियों का निर्यात होना था लेकिन इससे पहले जैन जर्नलिस्ट एसोसिएशन के राष्ट्रीय अध्यक्ष हार्दिक हुंडिया ने प्रेस नोट जारी करके पशुओं के निर्यात पर जीवदया प्रेमियों तथा सरकार की आलोचना करते हुये सभी की अंतर आत्मा को हिलाकर रख दिया था उसी का परिणाम यह हुआ कि वीडियो,ऑडियो,संदेश के जरिये उक्त निर्यात पर रोक लग गयी।हुंडिया ने खुशी जताते हुये बताया कि एक महाराज ने प्रधानमंत्री से बात की बल्कि और अन्य महाराज नेताओं के आवास तक पहुंच गये। खास बात तो यह भी रही कि भारत के केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने जब मना कर दिया कि नागपुर में निर्यात वाले कार्यक्रम में नही जाऊंगा।यह जब हार्दिक हुंडिया को पता चला और उनके करीबी तथा जैन समुदाय के मनीष मेहता ने उनको बताया कि नितिन गडकरी जैसे दिग्गज और वरिष्ठ मंत्री के इंकार करने पर जगह-जगह विरोध प्रदर्शन के कारण सरकार को निर्णय वापस लेना पड़ा। साथ ही हुंडिया सभी जीवदया प्रेमियों व मुंबई के बर्धमान परिवार का धन्यवाद दिया जिन्होंने कानूनी प्रक्रिया करके जीवित पशुओं के निर्यात पर कदम उठाया।
पवित्र समय न्यूज(मुंबई) 30 जून 2018
मुंबई-हाल ही में हार्दिक हुंडिया की दहाड़ पर जीवदया प्रेमियों असर जब व्हाट्सएप पर नजर आया जिससे जीवदया प्रेमियों में खुशी की लहर दौड़ गयी। ज्ञात हो कि आज एक लाख बकरियों का निर्यात होना था लेकिन इससे पहले जैन जर्नलिस्ट एसोसिएशन के राष्ट्रीय अध्यक्ष हार्दिक हुंडिया ने प्रेस नोट जारी करके पशुओं के निर्यात पर जीवदया प्रेमियों तथा सरकार की आलोचना करते हुये सभी की अंतर आत्मा को हिलाकर रख दिया था उसी का परिणाम यह हुआ कि वीडियो,ऑडियो,संदेश के जरिये उक्त निर्यात पर रोक लग गयी।हुंडिया ने खुशी जताते हुये बताया कि एक महाराज ने प्रधानमंत्री से बात की बल्कि और अन्य महाराज नेताओं के आवास तक पहुंच गये। खास बात तो यह भी रही कि भारत के केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने जब मना कर दिया कि नागपुर में निर्यात वाले कार्यक्रम में नही जाऊंगा।यह जब हार्दिक हुंडिया को पता चला और उनके करीबी तथा जैन समुदाय के मनीष मेहता ने उनको बताया कि नितिन गडकरी जैसे दिग्गज और वरिष्ठ मंत्री के इंकार करने पर जगह-जगह विरोध प्रदर्शन के कारण सरकार को निर्णय वापस लेना पड़ा। साथ ही हुंडिया सभी जीवदया प्रेमियों व मुंबई के बर्धमान परिवार का धन्यवाद दिया जिन्होंने कानूनी प्रक्रिया करके जीवित पशुओं के निर्यात पर कदम उठाया।
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